केंद्रीय मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने फैसलों की जानकारी देते हुए कहा कि कृषि को लेकर ऐतिहासिक फैसले लिए गए हैं. सरकार ने किसानों की 50 वर्षों से चली आ रही मांगों को पूरा किया है. उन्होंने कहा कि आवश्यक वस्तु अधिनियम, APAC अधिनियम में किसान हितैषी सुधार किए गए हैं।
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केंद्रीय मंत्री ने बताया कि आज कृषि उत्पादन की कोई किल्लत नहीं है. और इसलिए ऐसे समय बंधन डालने वाले कानून की जरूरत नहीं थी. इस कानून ने निवेश को रोका. इसके कारण निर्यात नहीं बढ़ा. आज इसलिए इस लटकती तलवार को सरकार ने खत्म किया और किसानों को अब अच्छी कीमत मिलेगी. उन्होंने कहा कि ये बंधन फिर तब लगेगा जब-जब कोई प्राकृतिक आपदा या अत्यधिक महंगाई होगी।
प्रकाश जावड़ेकर ने आगे कहा कि किसान अब कहीं भी अपना उत्पादन बेच सकेगा. किसानों को ज्यादा दाम में अनाज बेचने की अनुमति मिली है. उन्होंने कहा कि कॉमर्स एंड इंडस्ट्री को लेकर भी निर्णय लिया गया है।
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मंत्री ने कहा कि हमें दुनिया की कंपनियों की हालत पता है. भारत में ज्यादा से ज्यादा निवेश हो इसके लिए एम्पावर्ड ग्रुप ऑफ सेक्रटरीज बनाया गया है और साथ ही हर मंत्रालय में प्रॉजेक्ट डवलपमेंट सेल होगा. इससे भारत में निवेश करना और आसान होगा. इससे इकॉनोमी को बूस्ट मिलेगा और रोजगार के अवसर भी बढ़ेंगे।
उन्होंने कहा कि कोलकाता पोर्ट को श्यामा प्रसाद मुखर्जी नाम देने का फैसला लिया गया है. पीएम मोदी ने इसकी घोषणा 11 जनवरी को ही की थी. छठे फैसले पर उन्होंने कहा कि फार्मोकोपिया कमिशन फॉर इंडियन मेडिसिन ऐंड होमियोपैथी के आयुष मंत्रालय के अतंर्गत गठन को मंजूरी मिली है।
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कृषि मंत्री ने क्या कहा
वहीं, कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने कहा कि पिछले 6 सालों में लगातार पीएम मोदी की कोशिश है कि कैबिनेट के फैसले के केंद्र में गांव, गरीब और किसान आएं. इन सालों में गांवों के विकास और किसानों की समृद्धि की दृष्टि से अनेक निर्णय हुए हैं।
उन्होंने कहा कि आवश्यक वस्तु अधिनियम में संशोधन, किसान उपज व्यापार वाणिज्य संवर्धन और सरलीकरण अध्यादेश, मूल्य आश्वासन कृषि सवाओं के करार के लिए किसानों का सशक्तिकरण और संरक्षण अध्यादेश लाए गए हैं. कृषि के क्षेत्र के लिए आज ऐतिहासिक दिन है।
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